प्रतीकात्मक तस्वीर

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– फोटो : अमर उजाला

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उत्तर प्रदेश में पर्यटन विकास को गति देने की कोशिश में जुटे पर्यटन विभाग ने आगामी वित्तीय वर्ष 2023-24 में पांच नई परियोजनाओं का प्रस्ताव वित्त विभाग को भेजा है। इसमें 2025 में होने वाले प्रयागराज महाकुंभ से पहले गंगा पर्यटन परिपथ विकसित करने का प्रस्ताव मुख्य है। इससे प्रदेश में पर्यटकों को आकर्षित करने में मदद मिलेगी।

पर्यटन विभाग के सूत्रों के अनुसार प्रयागराज महाकुंभ व गंगा पर्यटन परिपथ के अलावा हापुड़ में शुक्र तीर्थ, बुद्धिस्ट सर्किट व बुंदेलखंड सर्किट के लिए भी बजट प्रस्ताव वित्त विभाग को भेजा गया है। महाकुंभ में आने वाले देशी-विदेशी पर्यटकों को बेहतर सुविधाएं देने के लिए 10 करोड़ की मांग की गई है।

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इसी तरह गंगा किनारे के कई जिले पर्यटन की दृष्टि से काफी महत्वपूर्ण हैं। इसे देखते हुए प्रदेश में गंगा जहां से प्रवेश करती हैं और जहां तक जाती हैं अर्थात बिजनौर से बलिया तक पूरे क्षेत्र को कवर करते हुए गंगा पर्यटन परिपथ बनाने का प्रस्ताव है। इस परिपथ पर जहां पहले से पर्यटन सुविधाएं हैं उन्हें और बेहतर करने के साथ-साथ नए गंतव्य भी शुरू किए जाएंगे।

हापुड़ में शुक्रतीर्थ को विकसित करने का भी 10 करोड़ का प्रस्ताव दिया गया है। इसी तरह बुद्धिस्ट सर्किट और बुंदेलखंड में पर्यटन विकास को गति देने के लिए भी 10-10 करोड़ रुपये के प्रस्ताव दिए गए हैं। पहले से चल रही परियोजनाओं के साथ ही वाराणसी, अयोध्या जैसे धार्मिक शहरों में कुछ नए प्रस्तावों को शामिल करते हुए पुरानी परियोजनाओं के लिए भी बजट प्रस्ताव भेजा गया है।



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